वाशिंगटन । अमेरिकी सांसद चक ग्रासली ने भारत के अगले राजदूत के तौर पर एरिक गार्सेटी के नामांकन का विरोध किया हैं। इतना ही नहीं अपने साथी सांसदों से भी यहीं रुख अख्तियार करने की अपील की है। गार्सेटी (51) के कार्यालय के एक कर्मचारी पर यौन उत्पीड़न के ‘‘गंभीर आरोप’ लगाए गए हैं। सीनेट में ग्रासली का यह बयान उस समय में आया जब व्हाइट हाउस भारत में अमेरिकी राजदूत के रूप में गार्सेटी के नाम को आगे बढ़ रहा है। भारत में अमेरिकी राजदूत का पद करीब दो साल से रिक्त है। लॉस एंजिलिस के पूर्व मेयर गार्सेटी को अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन का करीबी माना जाता है।
ग्रासली ने कहा भारत के राजदूत के तौर पर गार्सेटी के नामांकन का मैं कड़ा विरोध करता हूं। मैं लॉस एंजिलिस में उनके कार्यकाल के दौरान लगाए गए यौन उत्पीड़न और नस्लीय भेदभाव के गंभीर आरोपों के मद्देनजर गार्सेटी के खिलाफ वोट करने को मजबूर हूं। अमेरिकी सीनेट के अस्थायी अध्यक्ष ग्रासली ने अपने साथी सांसदों से कहा कि मेयर के तौर पर गार्सेटी के अपने कार्यालय में कई कर्मचारियों के यौन उत्पीड़न की बात से वाकिफ होने और अपने उप चीफ ऑफ स्टाफ रिक जैकब्स की ऐसी गतिविधियों को नजरअंदाज करने जैसे गंभीर आरोपों को लेकर कई व्हिसलब्लोअर ने उनके कर्यालय से संपर्क किया था।
ग्रासली ने कहा कि उन्हें और उनके सहकर्मियों को इन आरोपों को गंभीरता से लेना चाहिए  था। उन्होंने कहा मैं होशो हवास में उनके समर्थन में वोट नहीं कंरुगा। तथ्यों और सबूतों के आधार पर मैंने उनके समर्थन में वोट न करने का फैसला किया है और उम्मीद करता हूं कि मेरे सहकर्मी भी ऐसा ही करे।